भारत में ब्लैक इकोनॉमी
काले धन को कैसे समझें
Price: 495.00 INR
ISBN:
9780190123338
Publication date:
22/04/2022
Paperback
144 pages
Price: 495.00 INR
ISBN:
9780190123338
Publication date:
22/04/2022
Paperback
144 pages
अरुण कुमार
Rights: World Rights
अरुण कुमार
Description
हाल के वर्षों में काला धन भारतीय राजनीति का एक ज्वलंत मुद्दा बना रहा है। पिछले वर्षों में काले धन ने सरकार बदलने के अहम मुद्दे के रूप में काम किया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा नोटबंदी करने की एक ज़रूरी वजह काले धन का खात्मा बताया गया। काला धन एक मायावी खेल की तरह राजनीति में काम करता रहा जैसा कि यह अपनी प्रकृति में भी मायावी है। यह पुस्तक सरल भाषा में हमें काले धन के बारे में बताती है कि काला धन क्या है? यह किसी देश की अर्थव्यवस्था में किस तरह काम करता है? भारत में ब्लैक इकोनॉमी की स्थिति क्या है और यह कैसे काम करती है? इन सारे सवालों को विस्तार और सरल ढंग से यह पुस्तक हमें बताती है। परोक्ष तौर पर भ्रष्टाचार का चलन और काले धन के बीच किस तरह का संबंध है यह किताब इसे भी समझने की दृष्टि देती है।
देश की राजनीति, भ्रष्टाचार और अर्थव्यवस्था में काले धन की मिलावट को समझने के लिए यह बेहद ज़रूरी पुस्तक है।
अरुण कुमार, भारत के प्रसिद्ध अर्थशास्त्री और जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में अर्थशास्त्र के प्रोफ़ेसर रहे हैं।
अभिषेक श्रीवास्तव, लेखक, वादक, विवादक और अनुवादक। 18 वर्षों से दिल्ली में निडर होके इन्हीं कार्यों में क्रियाशील बने हुए हैं।
अरुण कुमार
अरुण कुमार
Description
हाल के वर्षों में काला धन भारतीय राजनीति का एक ज्वलंत मुद्दा बना रहा है। पिछले वर्षों में काले धन ने सरकार बदलने के अहम मुद्दे के रूप में काम किया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा नोटबंदी करने की एक ज़रूरी वजह काले धन का खात्मा बताया गया। काला धन एक मायावी खेल की तरह राजनीति में काम करता रहा जैसा कि यह अपनी प्रकृति में भी मायावी है। यह पुस्तक सरल भाषा में हमें काले धन के बारे में बताती है कि काला धन क्या है? यह किसी देश की अर्थव्यवस्था में किस तरह काम करता है? भारत में ब्लैक इकोनॉमी की स्थिति क्या है और यह कैसे काम करती है? इन सारे सवालों को विस्तार और सरल ढंग से यह पुस्तक हमें बताती है। परोक्ष तौर पर भ्रष्टाचार का चलन और काले धन के बीच किस तरह का संबंध है यह किताब इसे भी समझने की दृष्टि देती है।
देश की राजनीति, भ्रष्टाचार और अर्थव्यवस्था में काले धन की मिलावट को समझने के लिए यह बेहद ज़रूरी पुस्तक है।
अरुण कुमार, भारत के प्रसिद्ध अर्थशास्त्री और जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में अर्थशास्त्र के प्रोफ़ेसर रहे हैं।
अभिषेक श्रीवास्तव, लेखक, वादक, विवादक और अनुवादक। 18 वर्षों से दिल्ली में निडर होके इन्हीं कार्यों में क्रियाशील बने हुए हैं।
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